रिश्तों के जंगल में मन भटक
गया है। कुछ रिश्ते मन से जुड़े हैं तो कुछ भावना से, कहीं प्रीत का बंधन है तो कहीं रीत का। कुछ ने जीवन
भर का साथ दिया है तो कुछ न कुछ पलों का।
पलों में सदियाँ बिताने जैसा
सुख मिला है तो कहीं उम्र भी कम है उन रिश्तों को समझने के लिए।
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